कौहा, जामुन व नीम प्राकृतिक एनीकट-प्रो. कन्नोजे

राजनांदगांव। शासकीय दिग्विजय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, राजनांदगांव का रासेयो का सात दिवसीय विशेष शिविर ग्रामीण विकास के लिए युवा ग्राम भेड़ीकला में डॉ. के.एल. टाण्डेकर, प्राचार्य के मार्गदर्शन में आयोजित शिविर में दिनांक 20.02.2022 को बौद्धिक चर्चा कार्यक्रम में डॉ. एस.आर.कन्नोजे, रासेयो अधिकारी, शास.शिवनाथ विज्ञान महाविद्यालय, राजनांदगावं ने कहा कि हमारा देश प्राकृतिक संसाधानों से भरापूरा रहा है, वृक्षों की घनी अबादी से हमें सब कुछ प्राप्त होता रहा है, प्राणवायु के साथ ही दवाई, फल, फूल पौधे प्रदान करते है, मिट्टी के कटाव को रोकते है, वर्षा कराते है, ऑक्सीजन देते है इसीलिए पेड़ पौधों को ऑक्सीजन की फैक्ट्री कहा गया है। वर्तमान में तेजी से पेड़ पौधे काटे जा रहे हैं जिसका दुष्प्रभाव ग्लोबल वार्मिंग के रूप में हमारे सामने है।
जीवन की दूसरी आवश्यकता जल है जल जहां से भी बहा नये संस्कृति को जन्म दिया, घरों से निकलने वाले कचरों को हम पानी में विसर्जित कर देते है जिससे जल प्रदूषित हो जाता है, इसका दुष्प्रभाव जलीय जीवन पर पड़ता है। कौहा, जामुन व नीम को प्राकृतिक के एनीकट माना गया है बहुत दिनों तक पानी की नमी को बनाए रखता है। औद्योगिकीकरण के कारण, सीवेज, घरेलू अपशिष्टों, ऊर्वकों, पेस्टीसाइड, तापीय प्रदूषकों के कारण जल पदूषण की समस्या बड़ रही है। जल में ऑक्सीजन की कमी होने के कारण जलीय जन्तुओं की मृत्यु हो रही है। हमें पर्यावरण को संरक्षित करने के लिए कार्य करना होगा। कार्यक्रम का संचालन प्रो. नुतन देवांगन व धन्यवाद प्रो. संजय देवांगन रासेयो अधिकारी ने किया।

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